Dr. Abhyudaya Shrivastava

Dr. Abhyudaya Shrivastava's Scribble Pad

A showcase of everything I can do or cannot do. Personal
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  • Updated 5 Years Ago

तुम अकेली नहीं हो - लघुकथा

Updated 6 Years Ago

तुम अकेली नहीं हो  - लघुकथा
रात के एक बज रहे थे. शिखा को ये नहीं करना चाहिए था. अब उसे एहसास हो रहा है. वह मूलचंद मेट्रो स्टेशन के पास अकेली खड़ी है. आस पास पीली रौशनी में नहाई, हलकी बारिश से चमकती रोड हैं, इक्का दुक्का वाहन प…
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