Ravi Kant Sharma

Ravi Kant Sharma's Shri Madbhagvad Gita

Then once tasted God be with all her worldly goods
automatically begin to look dull and tasteless.

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  • Updated 10 Years Ago

अध्याय दो - गीतासार-योग

Updated 14 Years Ago

अध्याय दो - गीतासार-योग
(अर्जुन के शोक का कारण) संजय उवाच तं तथा कृपयाविष्टमश्रुपूर्णाकुलेक्षणम्‌ । विषीदन्तमिदं वाक्यमुवाच मधुसूदनः ॥ (१) भावार्थ : संजय न...
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